हर बेरोजगार शख्स को मिलता है बेरोजगारी भत्ता? आवेदन करने से पहले जानिए नियम और पात्रता से जुड़ी शर्तें

नई दिल्ली. बेरोजगारी भत्ते के बारे में आपने अक्सर सुना होगा कि सरकार पढ़े-लिखे बेरोजगार युवाओं को आर्थिक मदद मुहैया कराने के लिए सहायता प्रदान करती है. लेकिन क्या बेरोजगारी भत्ता सभी नौकरी गंवाने वाले और जॉब नहीं करने वाले लोगों को मिलता है. दरअसल बेरोजगारी भत्ते को लेकर कुछ नियम और शर्तें होती हैं. सबसे पहले बेरोजगारी भत्ता उन युवाओं को दिया जाता है, जो पढ़ लिख कर भी बेरोजगार हैं, या फिर किसी कारण से अपनी नौकरी गंवा चुके हैं जिसमें उनकी कोई गलती नहीं थी.

बेरोजगारी भत्ते को लेकर देश में ऐसी कोई एक विशेष योजना नहीं है जिसके प्रावधान हर राज्य में लागू होते हैं. हालांकि विभिन्न राज्यों में स्थानीय सरकारें बेरोजगार युवाओं को प्रोत्साहन देने और आर्थिक सहायता करने के लिए विशेष स्कीम चलाती है.

 किन लोगों को मिलता है बेरोजगारी भत्ता?

जब किसी संकट के कारण फैक्ट्रियों के बंद होने या कंपनी से कर्मचारियों की छंटनी जैसे हालात पैदा होते हैं तो इससे प्रभावित श्रमिकों को बेरोजगारी भत्ते के रूप में लेबर को उसकी दैनिक औसत आय का 50% भुगतान एक साल तक बेरोजगारी भत्ते के तौर पर किया जाता है. इस दौरान लाभार्थियों और उन पर आश्रित लोगों को फ्री मेडिकल केयर भी प्रदान की जाती है.

चूंकि हर राज्य में बेरोजगारी भत्ते को लेकर अलग-अलग स्कीम है. कुछ प्रदेशों में सरकार शिक्षित बेरोजगारी यानी पढ़ाई-लिखाई के बावजूद नौकरी नहीं मिलने वाले युवाओं को भी आर्थिक मदद देती है.

यूपी-बिहार में बेरोजगारी भत्ते को लेकर योजनाएं

उत्तर प्रदेश में बेरोजगार युवाओं के लिए राज्य सरकार ऐसी स्कीम लेकर आई है जिसमें 1000 से 1500 रुपये तक आर्थिक मदद के तौर पर दिए जाते हैं. हालांकि, इस योजना का लाभ केवर उत्तर प्रदेश के निवासियों को ही मिलता है. दरअसल इस योजना का मुख्य उद्देश्य प्रदेश के बेरोजगार युवाओं को आर्थिक सहायता प्रदान करना है.

इसमें शर्त है कि इस योजना का लाभ छात्र ले सकते हैं जिन्होंने अपनी पढ़ाई पूरी कर ली है और किसी कारण से उन्हें अब तक नौकरी नहीं मिली है. बेरोजगारी भत्ते के लिए आवेदन करने वाले आवेदक की आयु 21 से 35 वर्ष के बीच होनी चाहिए. परिवार की कुल आय सालाना 03 लाख रूपये से ज्यादा नहीं होनी चाहिए.

Advertisement